Tuesday, June 29, 2010

हर पल एक जैसा नहीं होता

हर पल एक जैसा नहीं होता
हर ख़ुशी सभी को मिल जाये नहीं होता
हर तमन्ना पूरी हो नहीं होता
तुम किसी की चांदनी हो
मेरे घर का उजाला नहीं हो सकता
तुम किया हो मेरे लिए
ये मै नहीं जानता
पर तुम सब कुछ मेरे लिए
मेरे हर सासों पर तुम हो
मेरी ज़िंदगी तुम हो तुम हो तुम हो।

0 comments:

Post a Comment